नई दिल्ली (टीम डिजिटल)। गर्दन में होने वाले दर्द को आमतौर पर लोग नजरअंदाज करते हैं, लेकिन कई बार यह दर्द बेहद खतरनाक साबित हो सकता है। उलटा सिर और कंधे क्या है? गर्दन में दर्द किसी भी उम्र के महिला -पुरुष और बच्चों को हो सकता है। लाइफ स्टाइल के कारण पिछले कुछ सालों में सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस के रोगियों में बेतहाशा वृद्धि हुई है।

युवाओं को घेर रही 'सर्वाइकल स्पॉन्डिलाइटिस'

बहजोई : गर्दन दर्द यानी सर्वाइकल स्पॉन्डिलाइटिस बीमारी दिन व दिन बढ़ती जा रही है। अधिकतर युवा इसकी चपेट में आ रहे हैं। शुरुआती अवस्था में गर्दन में अकड़न व दर्द महसूस होता है। उपचार न लेने पर बढ़कर यह हाथों और कमर के नीचे तक पहुंच जाता है। यह दर्द गर्दन को हिलाने-डुलाने, ऊपर-नीचे करने से बढ़ जाता है। बाद में चक्कर और उल्टियां आने लगती हैं। विशेषज्ञ डाक्टरों की मानें तो ज्यादा देर कुर्सी पर बैठकर, सिर झुका कर लिखने, पढ़ने, सिलाई, बुनाई करने और काम के दौरान घंटों कंप्यूटर पर आंख गड़ाए रखने से गर्दन की मांसपेशियों में तनाव आ जाता है। चलने और बैठने का तरीका भी गर्दन और कमर के बीच की हड्डी पर असर डालता है। बहुत देर तक सिर को एक ही तरह से रखने के कारण गर्दन में अकड़न आ जाती है, जिससे उसमें दर्द की समस्या उत्पन्न हो जाती है। समय पर लोग इसे नजरअंदाज कर देते हैं और घर ही बाम, तेल आदि से मालिश कर बैठ जाते हैं। बाद उलटा सिर और कंधे क्या है? मे यह समस्या बढ़ जाती है। गर्दन का यह दर्द कंधे और हाथों तक पहुंच जाता है। इसके अलावा सिर चकराने, अनिद्रा और उल्टी की समस्या भी उत्पन्न हो जाती है। समय पर यदि लोग इसका उपचार करा लें तो समस्या शुरुआत में ही समाप्त हो जाती है।

ये हैं इसके लक्षण

बहजोई: लम्बे समय तक खड़े या बैठे रहने पर, रात में सोते समय छींकते, खांसते, हंसते समय या फिर गर्दन को इधर-उधर घुमाते समय गर्दन में दर्द होना इसका मुख्य लक्षण है। कई लोगों में यह दर्द लगातार बना रहता है। कुछ लोगों में अचानक से तेज दर्द उठता है। रात को सोकर सुबह उठने पर अक्सर गले में जकड़न हो जाती है।

- पढ़ने-लिखने के दौरान बीच-बीच में पोजिशन बदलते रहे।

- कुर्सी पर बैठकर कंप्यूटर पर काम करने के दौरान तीस से चालीस मिनट के अंतराल पर थोड़ा घूमे।

- टीवी लेटकर न देखे।

- लंबे समय तक गाड़ी न चलाए।

- पेट के बल न सोएं।

- तकिए का प्रयोग न करें, यदि करें तो तकिया पतला और नरम हो।

बिगड़ती जीवन शैली तथा कंप्यूटर पर लगातार काम करने के कारण यह बीमारी ज्यादा बढ़ रही है। क्लीनिक पर पहुंचने वाले इस बीमारी से पीड़ित मरीजों की तकरीबन आधी संख्या युवाओं की है।

गर्दन दर्द से हो सकती है ये गंभीर बीमारी, जानें लक्षण व कारण

Navodayatimes

नई दिल्ली (टीम डिजिटल)। गर्दन में होने वाले दर्द को आमतौर पर लोग नजरअंदाज करते हैं, लेकिन कई बार यह दर्द बेहद खतरनाक साबित हो सकता है। गर्दन में दर्द किसी भी उम्र के महिला -पुरुष और बच्चों को हो सकता है। लाइफ स्टाइल के कारण पिछले कुछ सालों में सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस के रोगियों में बेतहाशा वृद्धि हुई है।

क्या है सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस

गर्दन का दर्द जो सर्वाइकल को प्रभावित करता है, वह सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस कहलाता है। यह गर्दन के निचले हिस्से, दोनों कंधों, कॉलर बोन तक पहुंच जाता है। इससे गर्दन घुमाने में परेशानी होती है और कमज़ोर मासपेशियों के कारण, हाथों को उठाना भी मुश्किल होता है।

क्यों होता है सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस

-कई उलटा सिर और कंधे क्या है? बार जोड़ों (कंधों के जोड़ ) और गर्दन के जोड़ों में दर्द स्पोंडिलोसिस अनुवांशिक भी होता है, लेकिन अधिकतर मामलों में ऐसा नहीं होता।
-स्पोंडिलोसिस होने के और भी कई कारण हैं जैसे कि उम्र का बढ़ना और ऑस्टियोपोरेसिस का होना.
-कैल्शियम और विटामिन डी की कमी के कारण हड्डियों का कमज़ोर हो जाना।
-सोते समय ऊंचा तकिया रखना, लेटकर पढना, टीवी देखना और घंटों कंप्यूटर के सामने बैठना।
-घंटों भर सिलाई बुनाई करना।
-गलत ढंग से और शारीरिक शक्ति से अधिक बोझ उठाना।
-गठिया से पीड़ित रोगी।
-लंबे समय उलटा सिर और कंधे क्या है? तक ड्राइविंग करना।
-कई गंभीर चोट या फ्रेक्चर के बाद हड्डियों में क्षय की स्थिति होने लगती है।
-धुम्रपान भी एक महत्वपूर्ण कारण है।

लक्षण व परेशानियां
-कई बार गर्दन का दर्द हलके से लेकर ज्यादा हो सकता है।
-गर्दन में दर्द और गर्दन का अकड़ना, स्थिति को गंभीर करने वाले मुख्य लक्षण हैं।
-सर में पीछे की ओर दर्द का होना।
-गर्दन को घुमाने पर गर्दन में पिसने की आवाज़ आना।
-चक्कर आना।
-कंधों में दर्द और जकड़न पैदा होना।
-हाथों में सुन्नपन होना।
-दर्द दोनों हाथों की उंगलियों में जाना, जिसे हम सर्वाइकल रेडीकुलोपैथी कहते हैं। यह नस के दबने की वजह से होता है।
-गर्दन में सूजन आ जाती है।
-सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस की समस्या सिर्फ जोड़ और गर्दन के दर्द तक ही सीमित नहीं रहती, समस्या गंभीर होने पर बुखार, थकान, उलटी होना, चक्कर आना, भूक की कमी जैसे लक्षण भी दिखाई दे सकते हैं।
अगर आप और आपके किसी संबंधी को ये परेशानियां हैं तो तुरंत अपने नज़दीकी फिज़ियोथीरेपिस्ट से मिलें और सलाह लें

क्या करें
-बैठते समय गर्दन को सीधा रखें।
-गाड़ी चलाते समय पीठ को सीधा रखें।
- गद्दे की बजाय तख्त पर सोये।
-नर्म व कम ऊंचाई वाले तकिये का प्रयोग करें।
-पौष्टिक भोजन खाएं, खासकर ऐसा भोजन जो विटामिन डी और कैल्शियम से भरपूर हो।
-गर्दन की सिकाई. तीव्र दर्द होने पर गरम पानी में नमक डालकर सिकाई करें। दिन में कम से कम तीन से चार बार करें. दर्द को जल्दी आराम देने में काफी लाभदायक है।

इनसे परहेज रखें
-धुम्रपान न करें।
-चाय और कैफीन का सेवन कम करें।
-गर्दन को ज्यादा देर तक झुकाकर न बैठें।
-लेटकर टीवी न देखें।
-लगातार कंप्यूटर पर न बैठें. अगर ऐसा करना ज़रूरी है तो गर्दन को थोड़ी थोड़ी देर में इधर उधर घुमाते रहे।
-ऊंचे तकिये का प्रयोग न करें।

फिज़ियोथेरेपी
फिजियोथेरेपिस्ट डॉक्टर तन्वी चौहान के मुताबिक सर्वाइकल व्यायाम दर्द की तीव्रता को कम करते हैं और साथ साथ अकड़े हुए जोड़ों और मासपेशियों को भी ठीक करते हैं। हालांकि फिज़ियोथेरेपी व्यायाम को करते समय यह बात हमेशा ध्यान रखें की अगर किसी भी समय ऐसा लगे की दर्द बढ़ रहा है तो व्यायाम कदापि न करें। सर्वाइकल व्यायाम को कम से कम दो बार अवश्य करें।

व्यायाम

इसके लिए कुछ खास किस्म के एक्सरसाइज आप कर सकते हैं।

1. रेंज ऑफ़ मोशन एक्सरसाइज
-अपने सिर को दाएं तरफ कंधे तक झुकाएं। थोडा रुकें और फिर मध्य में लायें। यह क्रम बाएं तरफ भी करें।
-अपनी ठुड्डी को नीचे की तरफ झुकाएं, रुकें और फिर सिर को पीछे ले जायें।
-अपने सिर को बाएं तरफ के कान की तरफ मोडें, रुकें और फिर मध्य में लायें। यह क्रम दाएं तरफ भी करें।

2. इसोमेट्रिक एक्सरसाइज
इस एक्सरसाइज को करते समय सांस को रोकें नहीं। हर व्यायाम को पांच से छह बार तक करें और शरीर को ढीला छोडें।
-अपने माथे से हथेलियों पर दबाव दें और सिर को अपनी जगह से हिलने उलटा सिर और कंधे क्या है? न दें।

-अपनी हतेलियों का दबाव सिर के बाएं तरफ दें और सर को हिलने न दें. यही क्रम दाएं तरफ भी करें। अपनी हतेलियों का दबाव सिर के पीछे दें और सिर को स्थिर रखें।

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सिर और कंधे (चार्ट पैटर्न)

तकनीकी विश्लेषण चार्ट पर, सिर और कंधे का गठन तब होता है जब बाजार की प्रवृत्ति तेजी या मंदी की प्रवृत्ति से उलट होने की प्रक्रिया में होती है ; एक विशिष्ट पैटर्न आकार लेता है और इसे उत्क्रमण गठन के रूप में पहचाना जाता है।

सिर और कंधों की संरचनाओं में एक बायां कंधा, एक सिर और एक दायां कंधा और नेकलाइन के रूप में खींची गई एक रेखा होती है। बायां कंधा एक व्यापक चाल के अंत में बनता है, जिसके दौरान मात्रा काफ़ी अधिक होती है। बाएं कंधे की चोटी बनने के बाद, बाद की प्रतिक्रिया होती है और कीमतों में कुछ गिरावट आती है, आमतौर पर कम मात्रा में होती है। सामान्य या भारी मात्रा के साथ शीर्ष बनाने के लिए कीमतें ऊपर उठती हैं और बाद में नीचे की ओर प्रतिक्रिया कम मात्रा के साथ होती है। दायां कंधा तब बनता है जब कीमतें फिर से बढ़ती हैं लेकिन केंद्रीय शिखर से नीचे रहती हैं जिसे हेड कहा जाता है और बाएं कंधे और सिर के बीच की पहली घाटी के बराबर या कम से कम बाएं कंधे के शिखर से नीचे गिरती है। बाएं कंधे और सिर के गठन की तुलना में दाएं कंधे के गठन में मात्रा कम होती है। बाएं कंधे, सिर और दाहिने कंधे के नीचे से एक नेकलाइन खींची जा सकती है। जब कीमतें इस नेकलाइन से टूटती हैं और दाहिने कंधे को बनाने के बाद गिरती रहती हैं, तो यह हेड एंड शोल्डर टॉप फॉर्मेशन के पूरा होने की अंतिम पुष्टि है। यह बहुत संभव है कि कीमतों में गिरावट की प्रवृत्ति जारी रखने से पहले नेकलाइन को छूने के लिए वापस खींच लिया जाए। [1]

यह गठन केवल एक हेड एंड शोल्डर टॉप का उलटा है और अक्सर प्रवृत्ति और बाजार की भावना में बदलाव का संकेत देता है। [२] गठन उल्टा है और वॉल्यूम पैटर्न एक हेड और शोल्डर टॉप से ​​अलग है। बाएं कंधे के गठन को पूरा करने के लिए कीमतें पहले निम्न स्तर से बढ़ जाती हैं और फिर एक नए निम्न स्तर तक गिर जाती हैं। एक पुनर्प्राप्ति चाल इस प्रकार है कि सिर के गठन को पूरा करने के लिए पहले की तुलना में कुछ अधिक मात्रा में चिह्नित किया गया है। कम मात्रा पर एक सुधारात्मक प्रतिक्रिया दाहिने कंधे का गठन शुरू करने के लिए होती है और फिर भारी मात्रा के कारण तेज गति से फिर से गर्दन की रेखा टूट जाती है।

सिर और कंधों के ऊपर और नीचे के बीच एक और अंतर यह है कि शीर्ष संरचनाएं कुछ हफ्तों में पूरी हो जाती हैं, जबकि एक मेजर बॉटम (बाएं, दाएं कंधे या सिर) में आमतौर पर अधिक समय लगता है, और जैसा कि देखा गया है, एक अवधि के लिए लंबा हो सकता है। कई महीने या कभी-कभी एक साल से भी ज्यादा।

पैटर्न पर खींची गई नेकलाइन एक समर्थन स्तर का प्रतिनिधित्व करती है, यह नहीं माना जा सकता है कि एक सिर और कंधे का गठन पूरा हो गया है जब तक कि समर्थन स्तर टूट न जाए। ऐसी सफलता अधिक मात्रा में हो सकती है या नहीं भी हो सकती है। ब्रेकथ्रू को बहुत सावधानी से देखा जाना चाहिए। यदि कोई सफलता तीन से चार प्रतिशत से अधिक हो तो गंभीर गिरावट आ सकती है।

जब एक स्टॉक छोटी मात्रा में नेकलाइन के माध्यम से बहता है, तो कुछ मामलों में एक लहर भी हो सकती है , हालांकि यह देखा गया है कि इस तरह की रैली सामान्य रूप से दबाव बढ़ने से पहले नेकलाइन के सामान्य स्तर को पार नहीं करेगी और एक तेज गिरावट होती है। , जिसके बाद कीमतें अधिक मात्रा के कारण हो सकती हैं।

  • ज्यादातर समय सिर और कंधे पूरी तरह से आकार में नहीं होते हैं। यह गठन थोड़ा ऊपर या नीचे झुका हुआ है।
  • एक कंधा लटकता हुआ दिखाई दे सकता है।
  • कई चार्ट पैटर्न पर, दो कंधों में से कोई एक दूसरे की तुलना में व्यापक दिखाई दे सकता है जो घाटियों के निर्माण में शामिल समय के कारण होता है।
  • नेकलाइन पूरी तरह से क्षैतिज नहीं हो सकती है; यह आरोही या अवरोही हो सकता है।
  • यदि नेकलाइन आरोही है तो सिर और कंधों के गठन के रूप में अर्हता प्राप्त करने के लिए दाहिने कंधे का सबसे निचला बिंदु बाएं कंधे के शिखर से काफी कम होना चाहिए।

नेकलाइन से बाद की चाल की न्यूनतम संभावित सीमा का अनुमान लगाने और मापने के लिए इसकी पुष्टि के बाद सिर और कंधे एक उपयोगी उपकरण है। बाद की चाल की दूरी का पता लगाने के लिए, सिर के शिखर से नेकलाइन तक की ऊर्ध्वाधर दूरी को मापें। फिर उसी दूरी को नेकलाइन से नीचे की ओर मापें, उस बिंदु से शुरू करें जहां कीमतें दाहिने कंधे के पूरा होने के बाद नेकलाइन में प्रवेश करती हैं। यह न्यूनतम उद्देश्य देता है कि इस शीर्ष गठन के पूरा होने के बाद कीमतों में कितनी गिरावट आ सकती है।

यदि हेड एंड शोल्डर टॉप से ​​पहले का मूल्य अग्रिम लंबा नहीं है, तो इसके पूरा होने के बाद की कीमत में गिरावट भी छोटी हो सकती है।

इस प्रकार के सिर और कंधे के पैटर्न में एक से अधिक बाएँ और/या दाएँ कंधे और/या सिर होते हैं। इसे मल्टीपल हेड और शोल्डर पैटर्न के रूप में भी जाना जाता है । एक विशेष प्रकार को "वाइकॉफ वितरण" के रूप में जाना जाता है।

गर्दन दर्द से हो सकती है ये गंभीर बीमारी, जानें लक्षण व कारण

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नई दिल्ली (टीम डिजिटल)। गर्दन में होने वाले दर्द को आमतौर पर लोग नजरअंदाज करते हैं, लेकिन कई बार यह दर्द बेहद खतरनाक साबित हो सकता है। गर्दन में दर्द किसी भी उम्र के महिला -पुरुष और बच्चों को हो सकता है। लाइफ स्टाइल के कारण पिछले कुछ सालों में सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस के रोगियों में बेतहाशा वृद्धि हुई है।

क्या है सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस

गर्दन का दर्द जो सर्वाइकल को प्रभावित करता है, वह सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस कहलाता है। यह गर्दन के निचले हिस्से, दोनों कंधों, कॉलर बोन तक पहुंच जाता है। इससे गर्दन घुमाने में परेशानी होती है और कमज़ोर मासपेशियों के कारण, हाथों को उठाना भी मुश्किल होता है।

क्यों होता है सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस

-कई बार जोड़ों (कंधों के जोड़ ) और गर्दन के जोड़ों में दर्द स्पोंडिलोसिस अनुवांशिक भी होता है, लेकिन अधिकतर मामलों में ऐसा नहीं होता।
-स्पोंडिलोसिस होने के और भी कई कारण हैं जैसे कि उम्र का बढ़ना और ऑस्टियोपोरेसिस का होना.
-कैल्शियम और विटामिन डी की कमी के कारण हड्डियों का कमज़ोर हो जाना।
-सोते समय ऊंचा तकिया रखना, लेटकर पढना, टीवी देखना और घंटों कंप्यूटर के सामने बैठना।
-घंटों भर सिलाई बुनाई करना।
-गलत ढंग से और शारीरिक शक्ति से अधिक बोझ उठाना।
-गठिया से पीड़ित रोगी।
-लंबे समय तक ड्राइविंग करना।
-कई गंभीर चोट या फ्रेक्चर के बाद हड्डियों में क्षय की स्थिति होने लगती है।
-धुम्रपान भी एक महत्वपूर्ण कारण है।

लक्षण व परेशानियां
-कई बार गर्दन का दर्द हलके से लेकर ज्यादा हो सकता है।
-गर्दन में दर्द और गर्दन का अकड़ना, स्थिति को गंभीर करने वाले मुख्य लक्षण हैं।
-सर में पीछे की ओर दर्द का होना।
-गर्दन को घुमाने पर गर्दन में पिसने की आवाज़ आना।
-चक्कर आना।
-कंधों में दर्द और जकड़न पैदा होना।
-हाथों में सुन्नपन होना।
-दर्द दोनों हाथों की उंगलियों में जाना, जिसे हम सर्वाइकल रेडीकुलोपैथी कहते हैं। यह नस के दबने की वजह से होता है।
-गर्दन में सूजन आ जाती है।
-सर्वाइकल स्पोंडिलोसिस की समस्या सिर्फ जोड़ और गर्दन के दर्द तक ही सीमित नहीं रहती, समस्या गंभीर होने पर बुखार, थकान, उलटी होना, चक्कर आना, भूक की कमी जैसे लक्षण भी दिखाई दे सकते हैं।
अगर आप और आपके किसी संबंधी को ये परेशानियां हैं तो तुरंत अपने नज़दीकी फिज़ियोथीरेपिस्ट से मिलें और सलाह लें

क्या करें
-बैठते समय गर्दन को सीधा रखें।
-गाड़ी चलाते समय पीठ को सीधा रखें।
- गद्दे की बजाय तख्त पर सोये।
-नर्म व कम ऊंचाई वाले तकिये का प्रयोग करें।
-पौष्टिक भोजन खाएं, खासकर ऐसा भोजन जो विटामिन डी और कैल्शियम से भरपूर हो।
-गर्दन की सिकाई. तीव्र दर्द होने पर गरम पानी में नमक डालकर सिकाई करें। दिन में कम से कम तीन से चार बार करें. दर्द को जल्दी आराम देने में काफी लाभदायक है।

इनसे परहेज रखें
-धुम्रपान न करें।
-चाय और कैफीन का सेवन कम करें।
-गर्दन को ज्यादा देर तक झुकाकर न बैठें।
-लेटकर टीवी न देखें।
-लगातार कंप्यूटर पर न बैठें. अगर ऐसा करना ज़रूरी है तो गर्दन को थोड़ी थोड़ी देर में इधर उधर घुमाते रहे।
-ऊंचे तकिये का प्रयोग न करें।

फिज़ियोथेरेपी
फिजियोथेरेपिस्ट डॉक्टर तन्वी चौहान के मुताबिक सर्वाइकल व्यायाम दर्द की तीव्रता को कम करते हैं और साथ साथ अकड़े हुए जोड़ों और मासपेशियों को भी ठीक करते हैं। हालांकि फिज़ियोथेरेपी व्यायाम को करते समय यह बात हमेशा ध्यान रखें की अगर किसी भी समय ऐसा लगे की दर्द बढ़ रहा है तो व्यायाम कदापि न करें। सर्वाइकल उलटा सिर और कंधे क्या है? व्यायाम को कम से कम दो बार अवश्य करें।

व्यायाम

इसके लिए कुछ खास किस्म के एक्सरसाइज आप कर सकते हैं।

1. रेंज ऑफ़ मोशन एक्सरसाइज
-अपने सिर को दाएं तरफ कंधे तक झुकाएं। थोडा रुकें और फिर मध्य में लायें। यह क्रम बाएं तरफ भी करें।
-अपनी ठुड्डी को नीचे की तरफ झुकाएं, रुकें और फिर सिर को पीछे ले जायें।
-अपने सिर को बाएं तरफ के कान की तरफ मोडें, रुकें और फिर मध्य में लायें। यह क्रम दाएं तरफ भी करें।

2. इसोमेट्रिक एक्सरसाइज
इस एक्सरसाइज को करते समय सांस को रोकें नहीं। हर व्यायाम को पांच से छह बार तक करें और शरीर को ढीला छोडें।
-अपने माथे से हथेलियों पर दबाव दें और सिर को अपनी जगह से हिलने न दें।

-अपनी हतेलियों का दबाव सिर के बाएं तरफ दें और सर को हिलने न दें. यही क्रम दाएं तरफ भी करें। अपनी हतेलियों का दबाव सिर के पीछे दें और सिर को स्थिर रखें।

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ट्रेडिंग आइडिया - #C-COCOA, 11-11-2021

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यह ओवरव्यू एक जानकारीपूर्ण और ट्यूटोरियल चरित्र है और मुफ्त में प्रकाशित किया जाता है. सभी डेटा, ओवरव्यू में शामिल, सार्वजनिक स्रोतों से प्राप्त कर रहे हैं, कम या ज्यादा विश्वसनीय रूप में मान्यता प्राप्त. अतिरिक्त, संकेत दिया जानकारी पूर्ण और सटीक है कि कोई गारंटी नहीं है. ओवरव्यू अद्यतन नहीं हैं . प्रत्येक ओवरव्यू में पूरी जानकारी, भी शामिल राय, इंडीकेटर्स , चार्ट और कुछ और, परिचय उद्देश्यों के लिए ही प्रदान की जाती है और वित्तीय सलाह या सिफारिश नहीं है. पूरे पाठ और उसके किसी भी हिस्से, और साथ हीचार्ट किसी भी संपत्ति के साथ एक सौदा करने के लिए एक प्रस्ताव के रूप में नहीं माना जा सकता है . IFC मार्केट्स और किसी भी परिस्थिति में अपने कर्मचारियों को किसी और के द्वारा की गई किसी कार्रवाई के दौरान लिए उत्तरदायी नहीं हैं या ओवरव्यू पढ़ने के बाद.

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